मलबा आने से थल सातशिलिंग पिथौरागढ़ राजमार्ग अनिश्चितकाल के लिए बंद

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पिथौरागढ़। पिछले साल 23 सितंबर को जनपद मुख्यालय को जाने वाली थल सातशिलिंग पिथौरागढ़ राजमार्ग थल से 500 मीटर दूर नागीमल पहाड़ी के दरकने से सड़क का 150 मीटर हिस्से जमींदोज हो गया था. लोनिवि विभाग ने कड़ी मशक्कत के बाद कठोर चट्टान को 13 दिन में काटकर नई सड़क बनायीं थी. सितंबर का वही माह सड़क के लिए फिर आफत लेकर आ गई है दो दिन से लगातार हो रही मूसलाधार बारिश से रात साढ़े ग्यारह बजे नागीमल पहाड़ी से कुछ मलबा आया था.लेकिन उसके बावजूद सुबह पैदल जाने वाले और वाहनें इस सड़क पर आवागमन कर रही थी.ठीक दस बजे अचानक इस डेंजर जोन के दाएं छोर पर दस मीटर आगे की ओर अलग नई पहाड़ी के भरभरा कर गिरने से सड़क अनिश्चितकालीन के लिए बंद हो गई.

भारी मात्रा में गिरे मलबा और वोल्डर सड़क का आधा हिस्सा तोड़ते हुए नीचे रामगंगा नदी तक भर गया.पैदल जाने के लिए भी जगह नहीं बची है.देवयोग से उस समय कोई भी आवागमन नहीं कर रहा था नहीं बहुत बड़ा हादसा हो सकता था.

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जेसीबी मशीन से सड़क के खुलने के कोई आसार नहीं हैं. इस समय लगातार बारिश हो रही हैं.बारिश में सड़क पर कार्य करना खतरे से खाली नही हैं. मौसम साफ होने पर ही पोक लेन मशीन से सड़क खोलने का कार्य सम्भव है.इसी पहाड़ी के ऊपर थलागाड़ के पास भी काफी दरारें आई हैं.बलतिर गांव में सड़क के किनारे के कुछ घरों में रात की मूसलाधार बारिश से सड़क का पानी घुस गया है.

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