अग्रवाल दंपति ने दुनिया से विदा होने के बाद 4 लोगों को दी रोशनी

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हल्द्वानी। समाज में हर व्यक्ति अपना कुछ ना कुछ योगदान कर सकता है। चाहे वह अमीर हो या गरीब, बस समाज के लिए कुछ करने का जज्बा होना चाहिए। यह बात अग्रवाल दंपति से समाज के हर नागरिक को सीखा दी है। दोनों ने ही दुनिया से विदा होने के बाद 4 लोगों की आंखों में रंग भर दिए।  गुरुवार सुबह मंगल पड़ाव निवासी इंदिरा रानी अग्रवाल (84) ने अंतिम सांस ली। अपने पति स्व. रमेश चंद्र अग्रवाल (89) जो कभी केमू के डायरेक्टर थे की तरह उनकी भी नेत्रदान की इच्छा थी। उनके बड़े बेटे रविंद्र अग्रवाल ने मां की इच्छा पूरी करने के लिए डॉ सुशीला तिवारी अस्पताल स्थित अर्जुन आई बैंक से संपर्क किया। आई बैंक की टीम सूचना पर मौके पर पहुंची और इंदिरा रानी की दोनो आंखों से कॉर्निया ले लिया। इंदिरा रानी के बेटे और शहर के प्रतिष्ठित व्यापारी रविंद्र अग्रवाल ने बताया कि उनके पिता ने 15 फरवरी 2023 को अंतिम सांस ली। पिता की इच्छा के अनुरूप उनकी दोनों आंखों की कॉर्निया दान कर दी गई थी।


आधे घंटे में दोनों आंखों से लिया कॉर्निया:  एसटीएच नेत्र रोग विभाग के एचओडी डॉ गोविंद सिंह तितियाल के दिशा निर्देश पर डॉ अजय, डॉ रचित, डॉ ऐश्वर्या, काउंसलर गोविंद पांडे और टेक्नीशियन हरगोविंद मेहरा मंगल पड़ाव स्थित इंदिरा रानी अग्रवाल के घर पहुंचे। और आधे घंटे में उनकी दोनों आंखों से कार्य लेकर अर्जुन नेत्र बैंक आ गए।

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दोनों बेटों में लिया है नेत्रदान का संकल्प:  रविंद्र के छोटे भाई मनोज कुमार अग्रवाल जो की श्री अग्रवाल सभा के सचिव भी है ने बताया कि माता-पिता के नेत्र दान के संकल्प के बाद मैं और बड़े भाई रविंद्र ने भी नेत्रदान का संकल्प लिया है। उनका कहना है कि इससे खुशी की बात क्या हो सकती है कि दुनिया से जाने के बाद भी लोग आपकी आंखों से दुनिया को देखें।

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